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ग्रहों की इस दुर्लभ कतार को देखना बनाएं अपनी रात का अविस्मरणीय अनुभव! क्या 396 अरब साल में पहली बार दिखेगा ये नजारा?

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गणतंत्र दिवस पर आपने सेना की भव्य परेड का आनंद लिया होगा, लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि आकाशगंगा में ग्रहों की अपनी अनोखी परेड कैसी होगी? आज शाम, सूर्यास्त के बाद, ब्रह्मांड का यह अद्भुत दृश्य आपके सामने होगा जब हमारे सौर मंडल के सभी सात ग्रह एक सीध में आकर अपनी चमक बिखेरेंगे। यह दुर्लभ खगोलीय घटना किसी अद्वितीय चमत्कार से कम नहीं है, जिसके बारे में कहा जाता है कि यह 396 अरब साल में केवल एक बार घटित होती है। तो तैयार हो जाइए, इस ब्रह्मांडीय परेड के गवाह बनने के लिए, जहां मंगल, शुक्र, पृथ्वी और अन्य ग्रह अपनी अनोखी शोभा बिखेरेंगे।

प्लैनेट परेड क्या है?

हमारे सौरमंडल के ग्रह हमेशा सूरज के चारों ओर अपनी-अपनी कक्षाओं में घूमते रहते हैं। लेकिन जब कुछ ग्रह थोड़े समय के लिए एक दिशा में आकर सीध में नजर आने लगते हैं, तो इसे प्लैनेट परेड या प्लैनेटरी अलाइनमेंट कहते हैं। आसान शब्दों में समझें, सौरमंडल के आठ ग्रह, जिनमें पृथ्वी भी शामिल है, सूरज के चारों ओर अपने निर्धारित पथ पर चलते रहते हैं। यह सिस्टम इतना व्यवस्थित है, जैसे कोई अदृश्य धागा सभी ग्रहों को एक परफेक्ट ऑमलेट के सर्कल में बांध कर रखता हो।

हर ग्रह की कक्षा और गति अलग-अलग होती है, इसलिए उनका सूरज का चक्कर लगाने का समय भी अलग होता है। लेकिन जब ये ग्रह अपनी कक्षाओं में चलते हुए अचानक एक सीध में आ जाते हैं, तो यह दृश्य प्लैनेट परेड कहलाता है। इस खगोलीय परेड का आनंद आप अपनी आंखों से भी ले सकते हैं, जब दो या अधिक ग्रह एक लाइन में आते हैं। बृहस्पति, शुक्र और मंगल जैसे चमकीले ग्रह तो बिना किसी उपकरण के भी देखे जा सकते हैं, लेकिन यूरेनस और नेपच्यून जैसे दूर के ग्रहों को देखने के लिए आपको टेलिस्कोप की मदद लेनी होगी। यह दुर्लभ घटना वर्षों में एक बार होती है और इस दौरान इतने सारे ग्रहों को एक साथ देखना एक अविस्मरणीय अनुभव बन जाता है।

खगोलीय परेड का अद्भुत नज़ारा:

  • कब और क्या:

21 जनवरी को सूर्यास्त के तुरंत बाद, आकाश में एक अनोखी परेड देखने को मिलेगी जब शुक्र, शनि, बृहस्पति, मंगल, नेपच्यून और यूरेनस एक लाइन में नजर आएंगे। हालांकि ये पूरी तरह सीधी रेखा में नहीं होंगे, लेकिन सूर्य के एक ओर पास-पास होंगे।

  • कैसे देखें:

यूरेनस और नेपच्यून को टेलिस्कोप से देखा जा सकेगा, जबकि बाकी ग्रह नंगी आँखों से दिखेंगे। शुक्र और शनि पश्चिम में, और बृहस्पति व मंगल पूर्व में चमकेंगे। इस परेड का सबसे अच्छा समय सूर्यास्त के 45 मिनट बाद है।

  • आगामी परेड:

यह परेड 25 जनवरी को फिर से होगी, और 20 फरवरी को बुध के शामिल होने से सभी 7 ग्रहों की पूरी परेड दिखेगी। हालांकि, तब कुछ ग्रहों को देखना मुश्किल हो सकता है। साफ आसमान और अंधेरे में इस अद्भुत नज़ारे का आनंद उठाएं।

क्या सामान्य आँखों से देख सकते हैं?

  • ग्रहों की चमक:

शुक्र, मंगल, बृहस्पति, और शनि को रात में बिना टेलिस्कोप के आसानी से देखा जा सकता है। नेपच्यून और यूरेनस के लिए टेलिस्कोप की जरूरत पड़ेगी। इस परेड में शुक्र सबसे ज्यादा चमकदार होगा, जबकि मंगल दूर से लाल बिंदु जैसा दिखेगा। शनि धुंधले और बृहस्पति सफेद बिंदु की तरह नजर आएंगे।

  • आसानी से देखना:

सभी ग्रह एक साथ आकाश में दिखेंगे और इनकी रोशनी आँखों के लिए सुरक्षित होती है। ग्रह तारे की तरह टिमटिमाते नहीं हैं, बल्कि स्थिर चमक के साथ दिखाई देते हैं। साफ आसमान और कम प्रदूषण के बीच इन्हें आसानी से देखा जा सकता है।

कब और कैसे  खत्म होगी प्लैनेट परेड ?

फोर्ब्स के अनुसार, यह शानदार परेड 8 मार्च को खत्म होगी। अंतिम परेड में मंगल, बृहस्पति, शुक्र, यूरेनस, नेपच्यून और बुध ग्रह शामिल होंगे। इस दृश्य को और खास बनाएगा आधा चांद, जो आकाश में चमकेगा। प्लैनेट परेड एक अस्थायी खगोलीय घटना है, जो ग्रहों की स्थिति बदलने पर समाप्त हो जाती है। जैसे ही ग्रह अपने-अपने ऑर्बिट में लौटते हैं, परेड भी खत्म हो जाती है। हर ग्रह की गति और कक्षा अलग-अलग होती है, जिससे उनकी परेड की अवधि भी अलग होती है।

क्या यह 396 अरब साल में एक बार हो रही है?

गलत दावा-

फोर्ब्स के अनुसार, यह दावा कि यह परेड 396 अरब साल में पहली बार हो रही है, गलत है। यूनिवर्स की उम्र 13.8 अरब साल है, और यह घटना इतनी पुरानी नहीं हो सकती। यह दावा 1997 में एक किताब में किया गया था, लेकिन अब यह वैज्ञानिक रूप से खारिज कर दिया गया है।

क्या है असल में-

ग्रहों का एक साथ आना कोई अजीब या असामान्य घटना नहीं है, लेकिन यह एक दुर्लभ खगोलीय घटना है, जो कई वर्षों में होती है। पिछली बार यह परेड 28 अगस्त 2024 को हुई थी, जब कुछ ग्रहों ने एक लाइन में आकर आकाश में एक सुंदर दृश्य प्रस्तुत किया

28 मार्च 2023 की खगोलीय शोभा:

पांच ग्रहों की अद्भुत कतार-

28 मार्च 2023 को, आकाश में पांच ग्रह – शुक्र, मंगल, बृहस्पति, बुध (मर्करी) और यूरेनस – एक ही लाइन में नजर आए थे। यह शानदार दृश्य भारत सहित कई देशों में सामान्य आँखों से देखा जा सका। इस खगोलीय परेड में शुक्र ग्रह सबसे चमकीला था, जो बुध के ऊपर टिमटिमा रहा था, एक यादगार और दुर्लभ नजारा।

क्या प्लैनेट परेड से पृथ्वी को नुकसान होगा?

कोई खतरा नहीं-

प्लैनेट परेड से सोलर सिस्टम को कोई नुकसान नहीं होता। यह एक अस्थायी घटना है, जो ग्रहों के एक साथ आने से होती है। ग्रहों के ऑर्बिट बेहद स्थिर होते हैं और इनकी गुरुत्वाकर्षण शक्ति इतनी अधिक नहीं होती कि वे एक-दूसरे को प्रभावित कर सकें। सभी ग्रह एक-दूसरे से अरबों किलोमीटर दूर होते हैं, इसलिए इस परेड का पृथ्वी पर कोई बुरा असर नहीं पड़ेगा।

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