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पुष्य नक्षत्र में पीएम मोदी ने वाराणसी से दाखिल किया नामांकन, 90 के दशक से भाजपा की कायम है बादशाहत

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उत्तर प्रदेश की वाराणसी लोकसभा सीट से तीसरी बार पुष्य नक्षत्र में  नामांकन दाखिल किया। इस मौके पर सीएम योगी उनके साथ मौजूद रहे। इसके अलावा राष्‍ट्रीय अध्‍यक्ष जेपी नड्डा समेत कई राज्‍यों के सीएम शामिल रहे। आचार्य गणेश्वर शास्त्री द्रविड़, बैजनाथ पटेल, लालचंद कुशवाहा और संजय सोनकर उनके प्रस्तावक बने। नामांकन दाखिल करने से पीएम मोदी ने काल भैरव की पूजा-अर्चना की। पीएम मोदी गंगा सप्तमी के अवसर पर दशाश्वमेध घाट पर मां गंगा की पूजा करने के बाद क्रूज पर सवार होकर नमो घाट पहुंचे थे।

पीएम मोदी को दो बार मिली जीत-

पीएम मोदी ने साल 2014 और साल 2019 के लोकसभा चुनाव  में वाराणसी से जीत हासिल की थी और अब यहां से तीसरी बार फिर चुनाव  के मैदान में हैं। साल 1991 के बाद हुए चुनाव में महज एक बार 2004 में कांग्रेस पार्टी जीत दर्ज कर सकी है। यहां सातवें चरण के तहत वाराणसी में मतदान एक जून को होगा।

90 के दशक में बीजेपी ने मारा चौका

बीते दस सालों से वाराणसी भारत की राजनीति का केंद्र बिंदु बन गया है क्योंकि यह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संसदीय क्षेत्र है। पीएम मोदी वाराणसी लोकसभा सीट के वर्तमान सांसद हैं। आपको बता दें कि साल 1991, 1996, 1998 और 1999 में  लगातार चार बार बीजेपी ने वाराणसी लोकसभा सीट पर जीत दर्ज की थी। 2004 में कांग्रेस के राजेश कुमार मिश्र वाराणसी के सांसद बने लेकिन कांग्रेस जीत का सिलसिला जारी नहीं रख सकी  इसके बाद 2009 से 2019 तक बीजेपी लगातार जीत दर्ज कर रही है। 2009 में यहां से मुरली मनोहर जोशी सांसद बने थे। 

कला की नगरी काशी -

काशी कलाकारों और साहित्यकारों का भी ठिकाना रही है। कबीर, रविदास, मुंशी प्रेमचंद, आचार्य रामचंद्र शुक्ल, जयशंकर प्रसाद, पंडित रवि शंकर, गिरिजा देवी, पंडित हरि प्रसाद चौरसिया और उस्ताद बिस्मिल्लाह खां काशी की पहचान हैं। इसके साथ ही वाराणसी का असी घाट, मणिकर्णिका घाट, दशाश्वमेध घाट, ललिता घाट, गंगा घाट, सारनाथ और श्री काशी विश्वनाथ मंदिर यहां के प्रमुख पर्यटन स्थल हैं। 

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