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प्रधानमंत्री जन-धन योजना की आज नौवीं वर्षगांठ: सीएम ने दी बधाई

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आज यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में 'प्रधानमंत्री जन-धन योजना' के आज सफलतम 09 वर्ष पूर्ण होने पर सभी को हृदय से बधाई देते हुए इसे देश की अर्थव्यवस्था के सुदृढ़ीकरण में अहम योगदान देने वाली, जन-जन की आर्थिक समृद्धि के लिए समर्पित बताया। केंद्रीय वित्त मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमन ने कहा कि ‘पीएमजेडीवाई’ की अगुवाई में ठोस उपायों और डिजिटल बदलाव ने भारत में वित्तीय समावेशन में क्रांति ला दी है। केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री डॉ. भागवत किशनराव कराड ने भी पीएमजेडीवाई की प्रशंसा करते हुए कहा कि पीएमजेडीवाई खाते ही डीबीटी जैसी जन-केंद्रित पहल का आधार हैं। ये समाज के सभी वर्गों, विशेषकर वंचितों के समावेशी विकास में अहम योगदान करते हैं। 

पीएमजेडीवाई का इतिहास :

‘पीएमजेडीवाई’ की घोषणा प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने 15 अगस्त 2014 को अपने स्वतंत्रता दिवस संबोधन में की थी। इसी साल 28 अगस्त 2014 को इस योजना की शुरुआत करते हुए प्रधानमंत्री ने इस अवसर को गरीबों को एक दुष्चक्र से मुक्ति दिलाने का जश्न मनाने का त्योहार बताया था। प्रधानमंत्री जन धन योजना वित्तीय समावेशन के लिए राष्ट्रीय मिशन है। जिसके तहत किफायती तरीके से बैंकिंग/बचत और जमा खातों, धन प्रेषण, ऋण, बीमा, पेंशन जैसी वित्तीय सेवाओं तक लोगों की पहुंच सुनिश्चित की जा रही है।

योजना के उद्देश्य

  • किफायती मूल्‍यों पर वित्तीय उत्पादों और सेवाओं तक लोगों की पहुंच सुनिश्चित करना
  • लागत कम करने और लोगों की पहुंच बढ़ाने के लिए प्रौद्योगिकी का उपयोग करना
  • बैंकिंग सुविधाओं से वंचितों को बैंकिंग सुविधाएं मुहैया कराना - न्यूनतम कागजी कार्रवाई के साथ बुनियादी बचत बैंक जमा (बीएसबीडी) खाता खोलना, केवाईसी, ई-केवाईसी में ढील, शिविर मोड में खाता खोलना, शून्य
  • बैलेंस और शून्य शुल्कअसुरक्षित को सुरक्षित करना – नकदी की निकासी और कारोबारी स्थलों पर भुगतान के लिए स्वदेशी डेबिट कार्ड जारी करना जिसमें 2 लाख रुपये की मुफ्त दुर्घटना बीमा कवरेज है
  • वित्त से वंचितों को वित्त मुहैया कराना - अन्य वित्तीय उत्पाद जैसे कि सूक्ष्म-बीमा, उपभोग के लिए ओवरड्राफ्ट, सूक्ष्म-पेंशन और सूक्ष्म-ऋण

उपलब्धियां

PIB द्वारा प्रकाशित प्रेस नोट के मुताबिक पीएमजेडीवाई की शुरुआत से लेकर अब तक 50 करोड़ से भी अधिक लाभार्थियों को बैंकिंग सुविधा दी गई है। इसके खातों के तहत कुल जमा राशि 2,03,505 करोड़ रुपये है। पीएमजेडीवाई खातों की संख्या मार्च 2015 के 14.72 करोड़ से 3.4 गुना बढ़कर 16-08-2023 तक 50.09 करोड़ तक पहुंच गयी है। सबसे खास बात इस योजना के लगभग 56 प्रतिशत जन-धन खाताधारक महिलाएं हैं और तकरीबन 67 प्रतिशत जन-धन खाते ग्रामीण व अर्ध-शहरी क्षेत्रों में खोले गए हैं। पीएमजेडीवाई खाताधारकों को कुल 33.98 करोड़ ‘रुपे कार्ड’ भी जारी किए गए हैं।   

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