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एमपीपीएससी (मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग) अभ्यर्थियों का प्रदर्शन लगातार तीसरे दिन जारी है। 18 दिसंबर को इंदौर से शुरू हुआ यह आंदोलन अब प्रदेशभर में फैलने लगा है। इंदौर के आसपास के जिलों से बड़ी संख्या में छात्र इसमें शामिल हो रहे हैं। बुधवार सुबह 10 बजे डीडी पार्क से "नेशनल एजुकेटेड यूथ यूनियन" के बैनर तले अभ्यर्थियों ने "एमपीपीएससी न्याय यात्रा" निकाली, जिसमें हजारों छात्र शामिल हुए।
ठंड में भी डटे रहे छात्र, अधिकारियों से मुलाकात-
गुरुवार को कड़ाके की ठंड के बावजूद अभ्यर्थी लोक सेवा आयोग के दफ्तर के बाहर बैठे रहे। दिन में पुलिस ने प्रदर्शनकारियों का माइक और स्पीकर भी छीन लिया, लेकिन यह छात्रों के हौसले को डिगा नहीं सका। शाम को यूनियन के प्रतिनिधियों ने आयोग के अधिकारियों से मुलाकात की। हालांकि, जब मांगे पूरी नहीं हुईं, तो अरविंद और राधे जाट ने आमरण अनशन शुरू कर दिया।
सांकेतिक विरोध: आयोग को चूड़ी भेंट करने की तैयारी-
शुक्रवार को प्रदर्शन के तहत "नेशनल कमेटी" के सदस्य और अनशनकारी राधे जाट ने वीडियो जारी कर अपील की कि प्रदर्शन में शामिल छात्र चूड़ियां लेकर आएं। यह चूड़ियां लोक सेवा आयोग को सांकेतिक विरोध के रूप में भेंट की जाएंगी।
पांच सूत्रीय मांगों पर अडिग छात्र
छात्र अपनी पांच मुख्य मांगों को लेकर प्रदर्शन कर रहे हैं:
अनिश्चितकालीन अनशन की चेतावनी-
अभ्यर्थियों का कहना है कि जब तक उनकी मांगे पूरी नहीं होतीं या लिखित में समाधान नहीं मिलता, आंदोलन जारी रहेगा। अगले चरण में छात्र अनिश्चितकालीन अनशन पर बैठने की तैयारी कर रहे हैं।
राजनीतिक समर्थन बढ़ा-
छात्रों के इस आंदोलन को कांग्रेस नेताओं का भी समर्थन मिल रहा है। कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी समेत कई नेता छात्रों के बीच मुख्यालय के बाहर पहुंचे और आंदोलन में शामिल हुए। जीतू पटवारी ने प्रदेश सरकार की आलोचना करते हुए छात्रों की मांगों को जायज ठहराया।
न्याय मिलने तक संघर्ष-
छात्रों का यह आंदोलन उनकी समस्याओं के समाधान और भर्ती प्रक्रिया को सुधारने की मांगों के साथ जारी है। यह प्रदर्शन प्रशासन और सरकार के लिए एक बड़ा संदेश बनता जा रहा है।
Baten UP Ki Desk
Published : 20 December, 2024, 5:58 pm
Author Info : Baten UP Ki