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डाइट कल्चर से दूर रहकर करें खुद से प्यार!

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(Special Story) सेहत जिंदगी का अनमोल खजाना है क्योंकि अगर हेल्थ सही है तो आपके पास हर खुशी है। लेकिन आजकल युवाओं में स्लिम-ट्रिम बनने का अलग ही क्रेज छाया हुआ है। खुद को भूखे रखकर पतला बनने की चाहत कई शारीरिक समस्याएं उन्हें अपना शिकार बना रही हैं। लोगों को डाइटिंग के नुकसान बताने के उद्देश्य से हर साल 6 मई को 'इंटरनेशनल नो डाइट डे' मनाया जाता है और उन्हें अपनी बॉडी से प्यार करने के लिए जागरूक किया जाता है।

क्या है डाइटिंग की पीछे की वजह

इन दिनों हर दूसरा व्यक्ति आकर्षक और सुंदर दिखने की चाहत में लोग भूखे रहते हैं और अपने पसंद के खाने से भी किनारा कर लेते हैं। खासतौर युवा वर्ग में डाइटिंग का बहुत ज्यादा क्रेज देखा जा सकता है। अनरियलिस्टिक बॉडी टाइप, मॉडलों की फोटोशॉप की गई तस्वीरें और असंभव शरीर मानक के कारण आजकल के युवाओं में ईटिंग डिसऑर्डर का लेवल बढ़ता जा रहा है।

क्या है इस दिन को मनाने का उद्देश्य

  • इस दिन को मनाने का उद्देश्य लोगों को डाइटिंग से होने वाले नुकसान के बारे में बताना तो है ही लेकिन साथ ही उन्हें यह समझाना भी बहुत जरूरी है कि, आप जैसे भी हैं हर हाल में अपने आप से प्यार करें।
  • खासतौर पर आजकल युवा वर्ग में डाइटिंग का बहुत ज्यादा क्रेज है और वह ईटिंग डिसऑर्डर के शिकार हैं। शरीर की स्वीकृति और विविधता के महत्व, प्रकार व विभिन्न आहार विकारों के बारे में जागरूकता बढ़ाने का भी यह दिन है।
  • यह दिन हमें यह समझने में मदद करता है कि जीवन का वास्तविक सार क्या है? स्वस्थ जीवन शैली और स्व-प्रेम इस महत्वपूर्ण दिन का उद्देश्य है।
  • इस दिन का उद्देश्य फैटफोबिया के बारे में जागरूकता बढ़ाना, साथ ही हमारी खान-पान से जुड़ी बुरी आदतों को चुनौती देना भी है।
  • अंतररार्ष्ट्रीय नो डाइट दिवस व्यक्तियों को रिस्ट्रिक्ट डाइट पर अपने मानसिक और शारीरिक कल्याण को प्राथमिकता देने के लिए प्रोत्साहित करता है।

डाइटिंग से नुकसान 

  • डाइटिंग से वजन कम करने की कोशिश ब्लड प्रेशर से लेकर हार्ट प्रॉब्लम्स, टाइप 2 डायबिटीज जैसी कई बीमारियों की वजह बन सकती है। 

 

  • ज्यादातर लोग वजन कम करने व फिट रहने के लिए डाइटिंग को बेस्ट मानते हैं लेकिन आपको बता दें डाइटिंग से शरीर कई तरह के रोगों का शिकार हो सकता है और इससे सिर्फ फिजिकल हेल्थ ही नहीं मेंटल हेल्थ भी प्रभावित हो सकती है। 

 

  • अगर आप डाइटिंग को फिट रहने का समाधान मानते हैं, तो आपको बता दें कि यह बिल्कुल गलत तरीका है। एक्सरसाइज न कर पाने वालों को यही सबसे आसान ऑप्शन नजर आता है बल्कि ये सच नहीं है। 

 

  • वजन कम करने या चर्बी घटाने के लिए डाइटिंग सबसे खराब ऑप्शन है। इसका असर हो सके आपको दो से तीन दिनों में नजर आने लगे, लेकिन इससे डिप्रेशन और एंग्जायटी जैसी समस्याओं के होने की भी संभावना कई गुना बढ़ जाती है।

 

  • वजन घटाने के लिए डाइटिंग करना फिजिकल हेल्थ के साथ मेंटल हेल्थ और यहां तक कि स्किन के लिए भी नुकसानदायक हो सकता है। डाइटिंग करने से शरीर में उन पोषक तत्वों की कमी होने लगती है, जो हेल्दी बने रहने के लिए जरूरी होते हैं और आपको बीमारियों से महफूज रखते हैं।

क्या है इंटरनेशनल नो डाइट डे का इतिहास?

इंटरनेशनल नो डाइट डे की शुरुआत 1992 में ब्रिटिश एंटी-डाइट मूवमेंट 'डाइट ब्रेकर्स' की निदेशक मैरी इवांस ने की थी। इस पहले अंतरराष्ट्रीय नो डाइट डे की यूके में हुई शुरुआत के बाद से इसे पूरे विश्व में मनाया जाने लगा। ब्रिटिश महिला मैरी इवांस एक नारीवादी और लेखिका भी है। मैरी इवांस का मानना है कि लोग जैसे हैं वैसे खुद को स्वीकार करें। इसका उद्देश्य अच्छे स्वास्थ्य के बारे में बात करना है फिर चाहे आपका साइज कुछ भी हो। 

इंटरनेशनल नो डाइट डे 2024 की थीम

इंटरनेशनल नो डाइट डे की साल 2024 की थीम है “खुद को सराहें, डाइट कल्चर को नकारें (Embrace yourself: Reject Diet Culture, Love You)।” मतलब खुद को जैसे हैं वैसे स्वीकार करें। 

कैसे रहें अपने शरीर के लिए पॉजिटिव?

आज कल लोगों में ये भ्रम हो गया है कि स्लिम फिगर ही हेल्दी होने का पैमाना है लेकिन ऐसा बिल्कुल नहीं है। लोगों को बॉडी पॉजिटिविटी की ओर प्रेरित करने के लिए ही इंटरनेशनल नो डाइट डे मनाया जाता है। जो लोग अपनी बॉडी को लेकर नेगेटिव रहते हैं उन्हें ऐसा बिल्कुल नहीं करना चाहिए बल्कि कुछ टिप्स अपनाकर अपने आप को पॉजिटिव रख सकते हैं। जो इस प्रकार हैं-

  • अपनी बॉडी को लेकर रहें पॉजिटिव-

शरीर के मोटापे का सीधा कनेक्शन बीमारियों से है, इस बात को इग्नोर नहीं किया जा सकता, लेकिन हर वक्त अपने शरीर को लेकर दुखी रहना और कई समस्याओं की वजह बन सकता है। इसका सीधा और सरल तरीका है आप अपनी लाइफस्टाइल और ईटिंग हैबिट्स को बदलें बजाय कि डाइटिंग करें।

  • नेगेटिव न सोचें

शरीर आपका है, तो इसकी केयर भी आपको ही करनी है, तो दूसरे आपकी बॉडी को लेकर क्या बोलते हैं इस चीज को लेकर दुखी होने के बजाय उस पर काम करें। नकारात्मक विचारों से दूर रहें। अगर आपके मन में यह ख्याल आता है कि मेरे पैर बहुत मोटा है, तो ज्यादा तनाव न लें बल्कि इसे कम करने के उपायों पर ध्यान दें।

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