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(Special Story) फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों भारत के दौरे पर हैं। वो भारत के गणतंत्र दिवस परेड में बतौर चीफ गेस्ट शामिल हो रहे हैं। इसके लिए मैक्रों आज से 2 दिन के राजकीय दौरे पर भारत में रहेंगे। ऐसा छठी बार होगा जब कोई फ्रांसीसी राष्ट्रपति भारत के गणतंत्र दिवस परेड में चीफ गेस्ट के रूप में शामिल होंगे। मैक्रों पेरिस से दिल्ली न जाकर सीधे जयपुर एयरपोर्ट पर उतरे और कार्यक्रमों में शामिल हो गए। पीएम मोदी के साथ मैकों रोड शो में शामिल हुए।
पीएम मोदी के साथ करेंगे रोड शो-
आपको बता दें कि दोनों नेता जंतर मंतर से सांगानेरी गेट तक रोड शो किया। इसके बाद वे हवा महल भी जाएंगे। एक न्यूज एजेंसी के मुताबिक, जयपुर में ही दोनों नेताओं के बीच द्वियपक्षीय बैठक भी होगी। दोनों नेताओं के बीच स्पेस से लेकर डिफेंस और डिजिटल तकनीक तक पर बातचीत होगी। इसमें भारत के रक्षा क्षेत्र से जुड़ी कई अहम घोषणाएं की जा सकती हैं। इसके बाद आज रात ही मैक्रों दिल्ली के लिए रवाना हो जाएंगे।
राष्ट्रपति मैक्रों का आज का कार्यक्रम-
फ्रांस के राष्ट्रपति मैक्रों 2:30 बजे जयपुर एयरपोर्ट पहुंचेंगे। 3:15 बजे आमेर किले जाएंगे जहां पर उनके सम्मान में सांस्कृतिक कार्यक्रम भी रखे गए हैं। 5:30 बजे दोनों नेता एक साथ जंतर मंतर जाएंगे जो यूनेस्को की विश्व विरासतों की सूची में शामिल है। इसके अलावा दोनों नेता जंतर मंतर से हवा महल होते हुए सांगानेरी गेट तक रोडशो करेंगे। कुछ मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, दोनों नेता हवा महल के पास जयपुर की स्पेशल मसाला चाय भी पिएंगे। वहां वे हस्तशिल्प आइटम्स की खरीदारी कर सकते हैं जिसके लिए यूपीआई से पेमेंट करने की भी खबर है। रामबाग पैलेस में मैक्रों के लिए प्राइवेट डिनर का आयोजन होगा।
स्पेस और डिफेंस सेक्टर लेकर हो सकती है अहम बातचीत-
आपको बता दें कि मोदी और मैक्रों के बीच स्पेस और डिफेंस सेक्टर को लेकर अहम बातचीत हो सकती है। बताया जा रहा है कि बातचीत के अजेंडे में डिजिटल सेक्टर भी रहेगा जो दोनों देशों के बीच सहयोग का एक नया उभरता क्षेत्र है। इसके साथ ही ऐसा माना जा रहा है कि दोनों नेता इंडियन नेवी के लिए 26 राफेल लड़ाकू विमानों की खरीदारी को लेकर बातचीत भी कर सकते हैं। इसके अलावा 3 पुनडुब्बियों की खरीदारी को लेकर भी बातचीत हो सकती है। गौरतलब है कि फ्रांस भारत का दूसरा सबसे बड़ा हथियार निर्यातक और भरोसेमंद दोस्त रहा है। इस साल गणतंत्र दिवस के लिए अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन को चीफ गेस्ट के लिए न्योता भेजा गया था। लेकिन जब उन्होंने आ पाने में असमर्थता जताई तब भारत ने आनन-फानन में मैक्रों को न्योता भेजा जिसे उन्होंने तुरंत स्वीकार कर लिया। ये दोनों देशों की मजबूत दोस्ती को दिखाता है। पिछले साल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी फ्रांस के राष्ट्रीय दिवस 'बैस्टिल डे' पर मुख्य अतिथि के तौर पर शामिल हुए थे।
भारत और फ्रांस की दोस्ती है गहरी-
आपको बता दें कि भारत और फ्रांस के बीच दोस्ती की शुरुआत उस समय से मानी जाती है जब भारत में बीजेपी की सरकार के दौरान 1998 में पोखरण में परमाणु परीक्षण किया गया था। उस समय इसका विरोध जताते हुए अमेरिका और बाकी अधिकतर पश्चिमी देशों ने भारत पर कई तरह की पाबंदियां लगा दी थीं। लेकिन उस समय भी फ्रांस पश्चिम का इकलौता ऐसा देश था जिसने भारत का समर्थन किया था।
भारत दुनिया का सबसे बड़ा हथियार खरीदार-
SIPRI के मुताबिक, भारत दुनिया का सबसे बड़ा हथियार खरीदार है। वहीं, फ्रांस दुनिया का तीसरा सबसे ज्यादा हथियार बेचने वाला देश है। 2018 से 2022 के बीच भारत ने 30% हथियार फ्रांस से ही खरीदे हैं। भारत और फ्रांस के बीच सालाना करीब 97 हजार करोड़ रुपए का व्यापार होता है। इससे साफ है कि फ्रांस के लिए भारत एक बड़ा मार्केट है। अगर भारत की बात की जाए तो ऐसा माना जाता है कि रूस-यूक्रेन जंग के बाद से भारत रक्षा के क्षेत्र में और खासतौर पर हथियारों की खरीद के मामले में रूस पर अपनी निर्भरता को कम करना चाहता है। हालांकि भारत ने अधिकारिक तौर पर ऐसा कभी कहा नहीं है लेकिन डिफेंस एक्सपर्ट का ऐसा ही मानना है।
भारत और फ्रांस किन मुद्दों पर चाहते हैं सहयोग-
देखा जाए तो भारत और फ्रांस कई मुद्दों पर एक-दूसरे का सहयोग चाहते हैं। दोनों के बीच सालों से दुनिया के अलग-अलग इश्यूज को लेकर अच्छी साझेदारी देखी गई है। संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद यानी UNSC में फ्रांस स्थाई सदस्य है। भारत लंबे समय से UNSC में बदलाव की मांग करता रहा है। भारत का मानना है कि UN के बनने के बाद से दुनिया काफी बदल चुकी है। ऐसे में दुनिया को चलाने वाली संस्था में भी बदलाव जरूरी है। UN को चंद देशों के इशारे पर चलना बंद करना चाहिए। फ्रांस भी भारत की इन मांगो का समर्थन करता है। वहीं दूसरी ओर UNSC में भारत स्थाई सदस्यता की मांग करता है। इसे लेकर फ्रांस ने भारत का ही पक्ष लिया है।
डिफेंस में साझेदारी चाहता है भारत-
भारत हथियारों की खरीद के मामले में किसी भी एक देश पर निर्भर रहने की बजाय अलग-अलग देशों के बेहतर हथियारों को सेना के लिए खरीद रहा है। PM मोदी के अमेरिका दौरे पर भारत ने MQ-9 ड्रोन की डील की थी। वहीं, जर्मनी के साथ 6 पनडुब्बियां बनाने का समझौता होना तय माना जा रहा है।
साथ ही फ्रांस से भारत ने 36 राफेल फाइटर जेट्स लिए हैं। मोदी की फ्रांस विजिट (2023) से पहले भी भारतीय नेवी ने 26 और राफेल खरीदने की इच्छा जताई थी। अब मैक्रों के दौरे के बाद भारत की मझगांव डॉकयार्ड्स लिमिटेड यानी MDL को फ्रांस के सहयोग से तीन तीन और स्कॉर्पीन-क्लास अटैक सबमरीन बनाने का मौका मिल सकता है।
सीनियर प्रोड्यूसर
Published : 25 January, 2024, 1:39 pm
Author Info : राष्ट्रीय पत्रकारिता या मेनस्ट्रीम मीडिया में 15 साल से अधिक वर्षों का अनुभव। साइंस से ग्रेजुएशन के बाद पत्रकारिता की ओर रुख किया। इलेक्ट्रॉनिक मीडिया...